कुलदीप को मिली डाक्टरेट आफ फिलाॅसफी की उपाधि, परिजनों में उल्लास
कानपुर। नरवल तहसील क्षेत्र के बाराधरी गांव के रहने वाले कुलदीप शर्मा ने डॉ. बी.आर. अंबेडकर राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान जालंधर से डॉ. ऑफ फिलॉसफी डिग्री सिविल इंजीनियरिंग में प्राप्त कर नरवल तहसील क्षेत्र का नाम रोशन किया। इस उपाधि को मिलते ही कुलदीप के परिजनों में खुशी का माहौल है। बताते चलें कि कुलदीप शर्मा के पिता रमाकांत शर्मा एक छोटे किसान है, अपनी जीविका परचून कि दुकान से चलाते आए है इस दौरान अपने बेटे का सपना पूरा करने के लिए कई बलिदान दिए। कुलदीप के पिता रमाकांत बताते हैं कि उनके बेटे का बचपन से ही वैज्ञानिक बनने की रुचि थी वह पढ़ने में बहुत होशियार था। कुलदीप शर्मा ने सरसौल के शंकरानंद इंटर कालेज से हाईस्कूल वर्ष (2007) और इंटरमीडिएट वर्ष (2009) में उत्तीर्ण किया। इसके बाद बीटेक सिविल इंजियरिंग उत्तराखंड प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय देहरादून वर्ष (2014) में उत्तीर्ण किया। तत्पश्चात मास्टर ऑफ टेक्नोलॉजी इन सेस्मिक डिजाइन एंड अर्थक्वेक इंजियरिंग वर्ष (2016) में उत्तीर्ण किया। अपनी पढ़ाई को लगातार जारी रखते हुए डॉ. बी.आर. अंबेडकर राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान जालंधर से डॉ. ऑफ फिलॉसफी डिग्री सिविल इंजीनियरिंग वर्ष (2023) में प्राप्त की, साथ ही शोध कार्य हेतु रोड निर्माण के लिए नया मैटेरियल बनाया है। जो इंडस्ट्री के अपशिष्ट पदार्थ से बना है। जिसको इंटरनेशनल जनरल में प्रकाशित किया गया है। कुलदीप शर्मा को यह उपाधि मिलने से क्षेत्रवासियों में हर्ष की लहर है। वहीं उनके परिवार के लोग बेहद खुश है। क्षेत्र के समाजिक व राजनैतिक और दोस्त उनको बधाई देते हुए उनके उज्ज्वल भविष्य की कामनाएं की हैं।