महिला जिला अस्पताल से रेफर महिला ने बाहर अस्पताल कम्पाउंड में पुत्र को दिया जन्म
फतेहपुर। जिले स्वस्थ सुविधाए राम भरोसे चल रही है। प्रदेश के मुखिया स्वास्थ्य ब्यवस्थाओ को दुरुस्त करने का हर संभव प्रयास कर रहे है। लेकिन सरकारी स्वास्थ्य सेवाओं के हाल बेहाल है। महिला जिला अस्पताल के बाहर महिला ने बच्चे को जन्म देकर स्वास्थ्य ब्यवस्थाओ की पोल खोलकर रख दिया है। अस्पताल के बाहर महिला द्वारा बच्चे को जन्म देता देख पास खड़ी महिलाओ ने साड़ी और चद्दर से ढककर डिलेवरी कराई। जहाँ प्रसूता ने एक पुत्र जन्म दिया। जो महिला जिला अस्पताल के जिम्मेदारों के लिए बड़ी ही शर्म की बात है। जिस प्रसूता को रेफर के नाम पर अस्पताल से निकाल दिया गया। उसी प्रसूता को बाहर नार्मल प्रसव होना जिम्मेदारों की जवाब देही बनती है। बाहर महिला के प्रसव होने की खबर जब अंदर पहुंची तो हड़कंप मच गया। परिजनों द्वारा बताया गया प्रसव पीड़ा होने पर प्रसव कराने के लिए आये थे जहाँ प्रसव करने के बजाये पीड़ित महिला को रेफर कर दिया गया। हम अपनी पत्नी को लेकर बाहर प्रसव कराने के लिए ले जा रहा थे तभी अस्पताल से बाहर महिला ने बच्चे को जन्म दिया है।
जानकारी के अनुसार जिले के महिला जिला अस्पताल में खागा कोतवाली क्षेत्र के सलेमपुर गोली गांव निवासी पंकज पाल की 28 वर्षीय पत्नी पिंकी देवी को प्रसव पीड़ा होने पर परिजन प्रसव कराने के लिए हरदो सीएचसी लेकर पहुंचे। जहां पिंकी देवी को सरकारी एंबुलेंस से जिला अस्पताल के लिए रेफर कर दिया गया। वहीं जिला अस्पताल पहुंचने पर पिंकी देवी को कानपुर रेफर करने की बात कही गई। तो साथ में आई आशा बहू पिंकी को लेकर उसको बाहर जा रही थी। तभी बाहर महिला गेट के समीप पिंकी देवी ने पुत्र को जन्म दे दिया। जिसकी जानकारी अंदर स्टाफ को हुई तो हड़कम्प मच गया। और उसको आनन-फानन अंदर ले जाकर भर्ती किया गया। साथ में आए पिंकी देवी के पति पंकज पाल ने आरोप लगाते हुए बताया कि हमको सिर्फ इधर-उधर टहलाया जा रहा था। यहां हमारी पत्नी की कोई देखभाल नहीं की जा रही थी। पहले तो हमको हरदो सीएचसी से रेफर किया गया। अब फिर यहां से कानपुर के लिए रेफर किया जा रहा था। जबकि बाहर जाने के बाद गेट पर हमारी पत्नी ने नार्मल पुत्र को जन्म दिया है। इसका जिम्मेदार महिला जिला अस्पताल का पूरा स्टाफ और डॉक्टर है। वही महिला जिला अस्पताल की सीएमएस रेखा रानी ने बताया की एक इमरजेंसी केस था जिसमें सभी स्टाफ लगा था इसलिए इनकी देखरेख में समय लगा और यह लोग अपनी मर्जी से लेकर जा रहे थे तभी प्रसूता को बाहर प्रसव हो गया है।